ललिता कोहली : वार्डन


मेरी कलम से : मुझे इस विद्यालय में सेवा करने का मौका दिनांक 15/02/2010 से प्राप्त हुआ, यह मेरा सौभग्य है की मै इस विद्यालय में वार्डन के पद पर रहते हुए इन वंचित छात्राओ को पुनः शिक्षा की धारा में जोड़ने का प्रयास कर रही हूँ | प्रयास के लिए गाँव का भ्रमण कर शालात्यागी बालिकाओं को की जानकारी लेना एवं उनको विद्यालय में प्राप्त सुविधाओं एवं विद्यालय आने के प्रयासों में सहयोग प्राप्त कर अति आवश्यकता वाली बालिकाओं का नामांकन करने में पूर्ण योगदान तथा विद्यालय के नियमो का पालन करते हुए पात्र बालिकाओं का प्रवेश करने में मदद पहुँचाना तथा कोई भी बालिका शिक्षा की मुख्य धारा से छूट न पाए |

वह विद्यालय के प्रचार प्रसार में बैठके एवं प्रत्येक राष्ट्रिय पर्वो में मोहल्ले की रैली के रूप में प्रचार प्रसार एवं विद्यालय के प्रति आकर्षित करना एवं विद्यालय का माहौल शिक्षाप्रद एवं अनुशासित बनाकर क्षेत्र में विद्यालय के प्रति एक सुदृण माहौल तैयार करना, आज की स्थिति यह है कि अच्छे से अच्छा व्यक्ति इस विद्यालय में प्रवेश करने के लिए लालायित है लेकिन यहाँ विद्यालय में नामांकन उन पिछड़े परिवार की बालिकाओं का ही होता हैं | आज बालिकाए जो शिक्षा की मुख्य धारा से वंचित हो गयी थी आज अच्छे मुकाम में शिक्षा प्राप्त कर रही हैं | वह प्रत्येक क्षेत्र में एवं सांस्कृतिक कार्यक्रमों में व्यावसायिक प्रशिक्षण आदि सभी क्षेत्रों में अग्रणीय हैं | आज बालिकाए हस्तकला, सिलाई, कढ़ाई, पेंटिंग एवं बुनाई, कविता लेखन आदि अच्छा कार्य कर रही हैं | हमारा प्रयास सफलता का लक्ष्य पाने हेतु प्रयासरत हैं |